1KG Gold Price 2025: सोने की कीमतें इस साल तेज़ी से बढ़ी हैं और निवेशकों को शानदार रिटर्न दिया है। 2025 में सोना अब तक लगभग 47% बढ़ चुका है। बुधवार को दिल्ली के सर्राफा बाज़ार में सोने की कीमत 1,10,000 रुपये से बढ़कर 1,21,000 रुपये प्रति 10 ग्राम हो गई। वित्तीय विशेषज्ञ एके मंधन का कहना है कि सोने की इस तेज़ी को देखते हुए भविष्य में इसकी कीमत हवाई जहाज़ जितनी भी हो सकती है।
एके मंधन ने सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म एक्स पर पिछले कुछ दशकों में 1 किलो सोने की कीमत की तुलना मशहूर गाड़ियों से की। उन्होंने अपनी पोस्ट में बताया कि 1990 में 1 किलो सोने की कीमत मारुति 800 के बराबर थी। 2000 में यह मारुति एस्टीम, 2005 में टोयोटा इनोवा, 2010 में टोयोटा फॉर्च्यूनर, 2019 में बीएमडब्ल्यू एक्स1 और 2025 में लैंड रोवर डिफेंडर के बराबर हो गई है।
सोने की कीमत बढ़ने की वजहें
1. वैश्विक आर्थिक अनिश्चितता और मुद्रास्फीति
जब दुनिया की अर्थव्यवस्थाएं अनिश्चित हों, मुद्रास्फीति बढ़े, तो निवेशक मूल्य स्थिरता की तलाश में सोने जैसे सुरक्षित निवेश साधनों की ओर रुख करते हैं।
- मुद्रास्फीति का दबाव सोने की मांग बढ़ाता है क्योंकि यह मुद्रा अवमूल्यन का एक प्रभावी बचाव माना जाता है।
- कोरोना महामारी, रूस-यूक्रेन युद्ध, और वैश्विक आर्थिक मंदी ने निवेशकों की चिंता बढ़ाई है।
2. केंद्रीय बैंकों का सोने की खरीदारी में इजाफा
कई विकासशील और विकसित देश के केंद्रीय बैंक अपने विदेशी मुद्रा भंडार में सोने की मात्रा बढ़ा रहे हैं, जिससे सोने की कीमत पर उपरी दबाव बनता है।
3. निवेशकों की बढ़ती मांग
सोना निवेश के लिए लंबे समय से लोकप्रिय विकल्प रहा है। शेयर बाजार की कमजोरी और क्रिप्टोकरेंसी में उतार-चढ़ाव के कारण निवेशक सोने की ओर लौट रहे हैं।
4. सोने की आपूर्ति में कमी
खनन और उत्पादन पर पर्यावरणीय नियमों और उच्च लागत का दबाव सोने की आपूर्ति को सीमित करता है, जिससे कीमतें और भी बढ़ सकती हैं।
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1KG सोने के भाव का प्राइवेट जेट से तुलन
एक प्राइवेट जेट की कीमत आमतौर पर 5 से 10 करोड़ रुपये के बीच होती है। विशेषज्ञों का आकलन है कि आने वाले 5-7 वर्षों में 1KG Gold Price 6 से 8 करोड़ रुपये तक पहुंच सकता है।
- 2025 में 1KG सोने का बाजार भाव लगभग ₹7,00,000 के करीब था।
- 2030 तक यह कीमत सात गुना से भी अधिक बढ़ सकती है।
- इस बढ़ोतरी की तुलना प्राइवेट जेट के दाम से की जा रही है जब 1 किलो सोना एक लग्जरी वस्तु के रूप में उभर कर सामने आएगा।
भारत में सोने की मांग और कीमतों पर असर
भारत में सोना न केवल निवेश का एक माध्यम है बल्कि शादी, त्यौहार और सांस्कृतिक अवसरों पर गहनों की मांग भी इसका एक बड़ा कारण है।
- भारत वैश्विक सोने की मांग में शीर्ष राज्यों में शामिल है।
- बढ़ती आर्थिक शक्ति और बढ़ती मध्यम वर्ग की वजह से सोने की मांग बढ़ेगी।
- आयात पर निर्भरता के कारण कच्चे सोने के महंगे होने पर स्थानिय कीमतों में भी वृद्धि होगी।
सोना निवेश क्यों अहम होगा भविष्य में?
1. पूंजी की सुरक्षा
अस्थिर शेयर बाजार और क्रिप्टोकरेंसी की अनिश्चितताओं के दौर में सोना सबसे भरोसेमंद निवेश माना जाता है।
2. तरलता और आसानी से बिक्री
सोना आसानी से नकदी में बदला जा सकता है, जिससे निवेशकों के लिए सहूलियत रहती है।
3. विविधीकरण का जरिया
एक अच्छा पोर्टफोलियो विविधीकरण करने के लिए सोना जरूरी होता है क्योंकि यह अन्य निवेशों से अलग तरह की जोखिम सुरक्षा प्रदान करता है।
4. महंगाई से बचाव
मुद्रास्फीति के समय सोने की कीमतें अक्सर बढ़ती हैं, जिससे मूल्य की गिरावट को रोका जा सकता है।
विशेषज्ञों की राय
- घरेलू बाजार में भी सोने की मांग ‘सुनहरा अवसर’ बनने की तरफ बढ़ रही है।
- वित्तीय विशेषज्ञ इसे एक लंबी अवधि का निवेश मानते हैं, जो 5 से 10 वर्षों में लाभकारी सिद्ध होगा।
- वे कहते हैं कि सोने के भाव बढ़ने का रुझान 2025 के बाद और तीव्र होगा क्योंकि वैश्विक आर्थिक दबाव बढ़ेंगा।
FAQs about 1KG Gold Price
1KG Gold Price अगले कितने सालों में प्राइवेट जेट के बराबर पहुंच सकता है?
विशेषज्ञों के अनुसार 5 से 7 वर्षों में 1 किलो सोना प्राइवेट जेट के बराबर महंगा हो सकता है।
सोने की कीमत में इतना बड़ा उछाल क्यों आएगा?
वैश्विक आर्थिक अनिश्चितता, मुद्रास्फीति, मांग और आपूर्ति की कमी मुख्य कारण होंगे।
क्या अभी सोने में निवेश करना सही होगा?
हाँ, अगर आप लॉन्ग टाइम निवेश का सोच रहे हैं तो सोना एक सुरक्षित और लाभकारी विकल्प है।
भारत में सोने की मांग पर क्या प्रभाव पड़ेगा?
भारत में बढ़ती आर्थिक समृद्धि के चलते सोने की मांग में निरंतर वृद्धि होगी।